तु उड़ती है सपनो में, जब मैं नींद मैं खोता हूँ
मेरे दिल की धड़कन भी, मैं तुझमे ही सुनता हूँ
बिजली की आहट जैसी है तू, मैं पानी जैसे बरसता हूँ
ज़िंदगी के हर मोड़ में, अब मैं तुझको हमसफ़र चाहता हूँ
~ Abhishek panigrahi
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