Friday 20 October 2017

2 Line SHayari, Kabhi aakar to dekh

कभी आकर तो देख मेरे इस दिल की वीरानियाँ,
कितना हसीन घर था जो तेरे हाँथों उजड़ गया।


मुझे तेरा साथ.. जिंदगीभर नहीं चाहिये,
बल्कि जब तक तु साथ है.. तब तक जिंदगी चाहिये।
तुझे याद रखने के शौक में, मैंने खुद को भुला दिया,
मेरा नाम पूछा किसी ने जब, तेरा नाम मैंने बता दिया।
मोहब्बत अल्फाज़ो की मोहताज नहीं है मेरे दोस्त,
ये खुदा का नूर है जो किसी किसी पर बरसता है।
मोहब्बत की कश्ती में जरा सोच समझकर चढ़ना यारों,
जब चलती है तो किनारा और डुबती है तो सहारा नहीं मिलता।
किस्सा नहीं बनना है मुझे तेरी मोहब्बत का,
सच्ची मोहब्बत है तो मुझे हिस्सा बना अपनी जिन्दगी का।
छोडो अब ये मुहोब्बत की बातें..
मिलावट की दुनियां में प्यार भी कुछ मिलावटी सा हैं।
आज तो झगडा होगा तुझसे ए खुदा,
मुश्किलें बढा दी तो सब्र भी बढा देता।
दर्द आँखों से निकला तो सबने बोला कायर है ये,
जब दर्द लफ़्ज़ों से निकला तो सब बोले शायर है ये।
न जाने किस तरह का इश्क कर रहे हैं हम,
जिसके हो नही सकते, उसी के हो रहे हैं हम।

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